कर्मों की निर्जरा का समय - चातुर्मास

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कर्मों की निर्जरा का समय - चातुर्मास

पूर्वांचल-कोलकाता
साध्वी स्वर्णरेखा जी ने अपनी सहवर्तिनी साध्वीवृंद के साथ पूर्वांचल सभा भवन तुलसी वाटिका में सॉल्ट लेक के चातुर्मासिक स्थल गुप्ता भवन में चातुमासिक प्रवेश किया। सॉल्ट लेक प्रवेश द्वार पर सभाध्यक्ष नगराज बरमेचा, मंत्री विनोद संचेती सहित पदाधिकारियों और अनेक श्रावकों ने साध्वीश्री जी का स्वागत किया।
प्रवेश उपरांत पूर्वांचल सभा, सॉल्ट लेक सभा, पूर्वांचल महिला मंडल द्वारा सामुहिक गीतिका द्वारा साध्वीश्री जी का स्वागत किया गया। साध्वीश्री जी ने कहा कि इस चातुर्मास में हम सबको धर्मोपासना का ज्यादा से ज्यादा लाभ लेना है और अपने कर्मों की निर्जरा करनी है। रास्ते की सेवा में सभा-संस्थाओं के अनेक पदाधिकारीगण एवं श्रावकगण उपस्थित थे।