फुल मून मेडिटेशन

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फुल मून मेडिटेशन

रोहिणी, दिल्ली।
साध्वी डॉ0 कुंदनरेखा जी के सान्निध्य में एवं तेरापंथी सभा, रोहिणी के तत्त्वावधान में शरद पूर्णिमा के अवसर पर वास्तु शास्त्री उमेद दुगड़ द्वारा ‘फुल मून मेडिटेशन’ का अद्भुत प्रयोग करवाया गया। इस अवसर पर साध्वी कुंदनरेखा जी ने ‘चंदेसु निम्मलयरा आइच्चेसु अहियं पयासयरा’ का जप करवाया। उमेद दुगड़ ने ‘फुल मून मेडिटेशन’ के अंतर्गत सभी भाई-बहनों को चंद्रमा की तरह दृष्टि रखने को कहा। उन्होंने कहा कि एक मिनिट भी हमारी दृष्टि वहाँ से हटे नहीं। इस ध्यान कक्ष में अनेकों ब्रह्मांडीय ध्वनियाँ भी बार-बार सुनाई दे रही हैं। उसी के साथ ध्यान की गहराई में प्रवेश करने हेतु सजेशन भी चल रहे थे। प्रोजेक्टर के जरिए मून दर्शन करवाकर ध्यान की गहराई में उतरने की कोशिश की गई। रोहिणी सभाध्यक्ष विजय जैन ने उमेद दुगड़ वास्तु शास्त्री का सभा की तरफ से स्वागत किया। अनिल जैन टोहाना निवासी ने सभी को साधुवाद देते हुए कार्यक्रम की प्रशंसा की। इस अवसर पर सभा अध्यक्ष ने उन्हें साहित्य आदि प्रदान कर स्वागत किया।