उत्सव रिश्तों का, प्रेम देवरानी-जेठानी का

संस्थाएं

उत्सव रिश्तों का, प्रेम देवरानी-जेठानी का

अमराईवाडी।
शासनश्री साध्वी सरस्वती जी के सान्निध्य में अभातेममं के निर्देशन में तेममं द्वारा ‘उत्सव रिश्तों का’ कार्यक्रम आयोजित किया गया। नमस्कार महामंत्र से कार्यक्रम की शुरुआत हुई। मंगलाचरण महिला मंडल की बहनों ने किया। अध्यक्ष संगीता सिंघवी ने सभी का स्वागत किया एवं अपने अनुभव प्रस्तुत किए। साध्वीश्री ने कहा कि देवरानी-जेठानी का रिश्ता बहुत ही नाजुक होता है। जहाँ यह रिश्ता अच्छा होता है, वह घर स्वर्ग बन जाता है। लंबे धागे को हमेशा लपेटकर रखना चाहिए ताकि उलझे नहीं और लंबी जबान को समेट कर रखना चाहिए जिससे विवाद न हो। सभी को आपस में प्रेम से रहना चाहिए। एक-दूसरे की भावनाओं का आदर करना चाहिए। सब के प्रति प्रमोद भाव रखना चाहिए ।
साध्वी संवेगप्रभा जी ने कहा कि ‘जहाँ बड़ों का आदर और छोटों को प्यार मिले वह परिवार खुशहाल होता है।’ देवरानी-जेठानी मिलजुल कर रहें, बच्चों को भी स्नेह का वातावरण मिले। साध्वी तरुणप्रभा जी ने देवरानी-जेठानी के प्रेम को उदाहरण द्वारा दर्शाया एवं ज्ञानवर्धक गेम्स करवाने की प्रेरणा दी। देवरानी-जेठानी के रिश्ते के कुछ खट्टे-कुछ मीठे अनुभव बहनों ने सुनाए एवं संयुक्त परिवार की महत्ता पर अपने विचार व्यक्त किए।
साथ ही देवरानी-जेठानी के बीच ज्ञानवर्धक प्रतियोगिता का आयोजन भी किया गया। जिसमें सचित्त-अचित्त वस्तुओं को पहचानना था और दूसरी प्रतियोगिता देवरानी-जेठानी आपसी प्रेम को बलून पर कुछ लाइनों में लिखना था। दोनों ही प्रतियोगिता रोचक रही। प्रतियोगिता में तीन विजेता जोड़ियाँ रहीं-हीना, प्रिया पगारिया; सेजल, सुप्रिया मेहता; नीरू, मीना सिंघवी।
सभा के अध्यक्ष रमेश पगारिया, उपासिका मंजु गेलडा ने भी अपने विचार व्यक्त किए। मंडल द्वारा सभी बहनों का तिलक कर, उपहार भेंट कर स्वागत किया गया। कार्यक्रम का संचालन एवं आभार ज्ञापन मंत्री लक्ष्मी सिसोदिया ने किया। इस कार्यक्रम में देवरानी-जेठानी के 13 जोड़ों ने भाग लिया एवं अन्य बहनों और कन्या मंडल सहित सभा, तेयुप, स्थानकवासी समाज सभी की उपस्थिति रही।