विकास का सबसे बड़ा कारण है-मर्यादा

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विकास का सबसे बड़ा कारण है-मर्यादा

सिंधनूर
साध्वी गवेषणाश्री जी के सान्‍निध्य में ‘वर्तमान युग में अनुशासन की महत्ता’ विषय पर प्रस्तुति के साथ मर्यादा महोत्सव का कार्यक्रम मनाया गया। डॉ0 साध्वी गवेषणाश्रीजी ने कहा कि तेरापंथ के सौंदर्य और विकास का सबसे बड़ा कारण हैमर्यादा। अगर तेरापंथ धर्मसंघ मर्यादित नहीं होता, एक आचार्य का नेतृत्व नहीं होता तो आज तेरापंथ विकास नहीं कर पाता, ऐसा कोई संप्रदाय या संघ नहीं है जहाँ मर्यादा महोत्सव मनाया जाता है।
साध्वी दक्षप्रभाजी ने अपने विचारों के साथ गीतिका की प्रस्तुति दी। कार्यक्रम की शुरुआत सिंधनूर महिला मंडल के मंगलाचरण से हुई। स्थानीय तेयुप के अध्यक्ष विजय नाहर ने अतिथि स्वागत भाषण दिया। अभातेयुप के पूर्व महामंत्री हनुमानमल लुंकड़, तेममं की मंत्री सुनीता नाहर, गदग से समागत तेरापंथ सभा के अध्यक्ष अमृतलाल कोठारी, गंगावती के उपासक सभा के मंत्री राजेंद्र कोचर, रायचूर से समागत महिला मंडल से कुसुम नाहर, स्थानीय मंदिर मार्गी के जागरूक अध्यक्ष सुजीत ओस्तवाल, गदक के समागत तेयुप के अध्यक्ष दिनेश संकलेचा ने अपने मर्यादा अनुशासन पर विचार रखे। सिंधनूर तेरापंथ महिला मंडल, गदग महिला मंडल और तेयुप की टीम ने अपनी प्रस्तुति दी। सिंधनूर कन्या मंडल की बहनों ने सुंदर प्रस्तुति दी जिसका संचालन साध्वी मयंकप्रभाजी ने किया। स्थानकवासी संघ के अध्यक्ष गौतम बम्ब ने संघ की एकता का परिचय दिया। स्थानीय सभा के मंत्री राजेंद्र नाहर ने आभार ज्ञापन किया। कार्यक्रम का संचालन साध्वी मेरुप्रभाजी ने किया।